प्रयागराज : मौनी अमावस्या से पांच दिन पहले शुक्रवार को ही स्नानार्थियों का रेला उमड़ा। मेला क्षेत्र के हर मार्ग पर लोग चले आ रहे थे। यह सिलसिला भोर में शुरू हुआ और देर रात तक यही स्थिति रही। सरकारी आंकड़ों के अनुसार रात आठ बजे तक 58.76 लाख लोगों ने स्नान किया। वहीं, मेला क्षेत्र में प्रवेश नहीं दिया जा रहा, लेकिन पहले से मौजूद वाहनों की भी जगह-जगह कतार रही।
पहले अमृत स्नान मकर संक्रांति पर उम्मीद से कहीं अधिक भीड़ आई थी। इसके बाद अब 29 जनवरी को दूसरा अमृत स्नान पर्व मौनी अमावस्या है। इसके बाद तीन फरवरी को वसंत पंचमी अमृत स्नान पर्व है। 25 और 26 जनवरी को अवकाश रहेगा। ऐसे में 25 जनवरी से तीन फरवरी के सबसे अधिक भीड़ की उम्मीद की जा रही है। जिला व मेला प्रशासन इसे ध्यान में रखकर विशेष तैयारी कर रहा है।
मौनी तक अमावस्या रुकेंगे लाखों
शुक्रवार को आने वालों में से बड़ी संख्या ऐसे श्रद्धालुओं की है जो मौनी अमावस्या तक रुकेंगे। जौनपुर से रोहिणी सक्सेना पूरे परिवार के साथ आई हैं। वे बस से झूंसी तक आईं। इसके बाद पैदल ही संगम क्षेत्र में पहुंचीं। उनका कहना था कि शनिवार से रास्ते बंद हो जाएंगे। बस कहां तक आएगी, इसे लेकर भी आशंका थी। इसलिए वे लोग शुक्रवार को ही आ गईं। उनका कहना था कि एक शिविर में जगह मिली है। अब मौनी स्नान के बाद जाएंगे। इसी तरह लाखों लोग हैं, जो शुक्रवार को ही आ गए और मौनी अमावस्या स्नान के बाद जाएंगे।
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