DESK - कश्मीर में आतंकवादी गतिविधियों पर रोकथाम के
लिए प्रशासन ने एक बार फिर कमर कसी है। सरकार ने केबल ऑपरेटरों को ऐसे 30 से
अधिक चैनलों को बंद करने का निर्देश दिया है, जो अपने
कार्यक्रमों के जरिए घाटी में जहर घोलते हैं।
दरअसल, ये पाकिस्तानी
और इस्लामिक चैनल कश्मीर में उकसावे वाले कार्यक्रम प्रसारित कर आतंकवादी
गतिविधियों को बढ़ावा देने और घाटी के युवाओं को भड़काने का काम करते हैं।
घाटी में प्रसारित होने वाले ऐसे 30 से
अधिक चैनलों की पहचान की गई है, जिनमें पाकिस्तानी और इस्लामिक चैनल
भी हैं। इनमें से अधिकांश का प्रसारण पाकिस्तान और खाड़ी देशों से होता है।
गृह विभाग की ओर से जारी निर्देशों में इन
चैनलों को प्रतिबंधित करार दिया गया है। विभाग ने कहा कि ये चैनल शांति और सद्भाव
के लिए खतरा हैं। गृह विभाग के इस आदेश के बाद माना जा रहा है कि केबल ऑपरेटर जल्द
ही मीटिंग कर घटनाक्रम पर चर्चा करेंगे, क्योंकि इनका मानना है कि इन चैनलों की
व्युअरशिप बहुत अधिक है, इसलिए इस फैसले से उन्हें नुकसान
उठाना पड़ सकता है।
गौरतलब है कि कश्मीर में इन चैनलों का प्रसारण
आवश्यक मंजूरी के बगैर ही निजी केबल ऑपरेटर्स के जरिए होता है। हालांकि यहां भी
टाटा स्काई, एयरटेल डिजिटल टीवी और डिश टीवी मौजूद हैं,
पर
स्थानीय लोग प्राइवेट केबल ऑपरेटर्स को तरजीह देते हैं। यहां तक कि कुछ सरकारी
विभागों में भी इन प्राइवेट केबल ऑपरेटर्स से सब्सक्रिप्शन लिए जाते रहे हैं।
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